Drash/Pashya Dhatu Roop in Sanskrit | भ्वादिगण तथा परस्मैपदी धातु रूप

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नमस्कार दोस्तों, यहाँ पर आपको दृश्-पश्य धातु के रूप संस्कृत में सिखने को मिलने वाला है। Pashya Dhatu Roop के बारे मे काफी छात्र सीखना चाहते है। और इंटरनेट पर भी इसके बारे मे जानकारी खोजते रहते है। इसलिए मेने इस लेख के माध्यम से आपको Drash Dhatu Roop के बारे मे बता रहे  है। दृश्-पश्य धातु का अर्थ है ‘देखना, to see’। यह भ्वादिगण तथा परस्मैपदी धातु है। सभी भ्वादिगण धातु के धातु रूप इसी प्रकार बनते है जैसे- अर्च्, जि, भू-भव्, अस्, गुह्, गम्, घ्रा, आदि। दृश्-पश्य धातु के रूप संस्कृत में सभी पुरुष एवं वचनों में नीचे दिए गए हैं।

Pal Dhatu Roop in Sanskrit चुरादिगण तथा उभयपदी धातु रूप 34

1 . लट् लकार – वर्तमान काल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषपश्यतिपश्यतःपश्यन्ति
मध्यम पुरुषपश्यसिपश्यथःपश्यथ
उत्तम पुरुषपश्यामिपश्यावःपश्यामः
Pashya Dhatu Roop

2. लृट् लकार – भविष्यत काल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषद्रक्ष्यतिद्रक्ष्यत:द्रक्ष्यन्ति
मध्यम पुरुषद्रक्ष्यसिद्रक्ष्यथ:द्रक्ष्यथ
उत्तम पुरुषद्रक्ष्यामिद्रक्ष्याव:द्रक्ष्याम:
Pashya Dhatu Roop

3. लङ् लकार – भूतकाल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषअपश्यत्अपश्यताम्अपश्यन्
मध्यम पुरुषअपश्यःअपश्यतम्अपश्यत
उत्तम पुरुषअपश्यम्अपश्यावअपश्याम
Pashya Dhatu Roop

4. लोट् लकार – आज्ञा के अर्थ में

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषपश्यतुपश्यताम्पश्यन्तु
मध्यम पुरुषपश्यपश्यतम्पश्यत
उत्तम पुरुषपश्यानिपश्यावपश्याम
Pashya Dhatu Roop

5. विधिलिङ् लकार – चाहिए के अर्थ में

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषपश्येत्पश्येताम्पश्येयुः
मध्यम पुरुषपश्येःपश्येतम्पश्येत
उत्तम पुरुषपश्येयम्पश्येवपश्येम
Pashya Dhatu Roop

6. लुङ् लकार – सामान्य भूतकाल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषअदर्शत्अदर्शताम्अदर्शन्
मध्यम पुरुषअदर्शःअदर्शतम्अदर्शत
उत्तम पुरुषअदर्शम्अदर्शावअदर्शाम

7. लिट् लकार – परोक्ष भूतकाल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषददर्शददृशतुःददृशुः
मध्यम पुरुषददर्शिथददृशथुःददृश
उत्तम पुरुषददर्शददृशिवददृशिम

8. लुट् लकार – अनद्यतन भविष्य काल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषद्रष्टाद्रष्टारौद्रष्टार:
मध्यम पुरुषद्रष्टासिद्रष्टास्थ:द्रष्टास्थ
उत्तम पुरुषद्रष्टास्मिद्रष्टास्व:द्रष्टास्म:

9. आशिर्लिङ् लकार – आशीर्वाद हेतु

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषदृश्यात्दृश्यास्ताम्दृश्यासुः
मध्यम पुरुषदृश्याःदृश्यास्तम्दृश्यास्त
उत्तम पुरुषदृश्यासम्दृश्यास्वदृश्यास्म

10. लृङ् लकार – हेतुहेतुमद् भविष्य काल

पुरुषएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथम पुरुषअद्रक्ष्यत्अद्रक्ष्यताम्अद्रक्ष्यन्
मध्यम पुरुषअद्रक्ष्यःअद्रक्ष्यतम्अद्रक्ष्यत
उत्तम पुरुषअद्रक्ष्यम्अद्रक्ष्यावअद्रक्ष्याम

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